life Insurance kya hai l what is life insurance
हम सब जानते हैं कि हमारा जीवन कितना कीमती है. आज के समय में जीवन में कब क्या होजाये ये हमें पता नहीं चलता, सड़कों पर जीस तरह से रोज़ इतनी तेजी से गाड़ियां चल रही है जिससे हर दिन दुर्घटनाएं होती रहती है. ऐसे में जीवन बीमा हर व्यक्ति के लिए जरूरी है. दुर्घटना बढ़े इस जीवन में अपनी कीमती चीजों का बीमा करवाने से आपको बहुत से लाभ भी हो सकता है. आप अपनी मृत्यु के बाद अपने परिवार की मदद करना चाहते हैं, तो ये आपके लिए बहुत ही सुरक्षित तरीका है.
लाइफ इंश्योरेंस क्या है ? | Life insurance kya hai
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस(Life Insurance) एक कॉन्ट्रैक्ट(Contract) है जो इंश्योरेंस कंपनी(Insurance Company) और इन्सोर्ड(Insured) व्यक्ति के बीच होता है। इसके अनुसार, अगर इन्सोर्ड(Insured) व्यक्ति के साथ किसी प्रकार की दुर्घटना या एक्सीडेंट(Accident) होती है, जिसमें उसकी मृत्यु या डेथ(Death) हो जाती है, तो इंश्योरेंस कंपनी(Insurance Company) उसके बेनेफिशरी(Beneficiary) या नॉमिनी(Nominee) (परिवार के सदस्य) व्यक्ति को एक सुनिश्चित राशि का भुगतान करती है।
इसके लिए इन्सोर्ड(Insured) व्यक्ति को सीमित समय के लिए एक छोटी राशि का प्रीमियम(Premium) के रूप में नियमित भुगतान करना पड़ता है।
यह जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस(Life Insurance) पॉलिसी परिवार या प्रियजनों के लिए एक वित्तीय या फाइनेंसियल(Financial) सुरक्षा कवच की तरह काम करती है।
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस(Life Insurance) प्लान को समझने के लिए इसमें इस्तेमाल होने वाले शब्दों को जानना बहुत ज़रूरी है।
ये है :-
1. लाइफ इन्सोर्ड – Life Insured
जिस व्यक्ति का जीवन सुरक्षित किया जाता है उसे लाइफ इन्सोर्ड(Life Insured) कहते हैं। लाइफ इन्सोर्ड(Life Insured) की डेथ(Death) होने पर बेनेफिशरी को बीमा धन मिलता है।
उदाहरण के लिए :- एक पति अपनी बीवी के लिए जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस( Life Insurance) लेता है तो वह इंश्योरेंस होल्डर(Insurance Holder) या पॉलिसी होल्डर(Policy Holder) है और उसकी पत्नी लाइफ इन्सोर्ड (Life Insured)।
2. इंश्योरेंस होल्डर – Insurance Holder
जो व्यक्ति इंश्योरेंस (Insurance) खरीदता है और प्रीमियम (Premium) भरता है उसे इंश्योरेंस होल्डर (Insurance Holder) या पॉलिसी होल्डर (Policy Holder) कहते हैं। कोई व्यक्ति पालिसी का मालिक हो सकता है पर ज़रूरी नहीं उसका जीवन इन्सोर्ड (Insured) हो।
3. नॉमिनी – Nominee
पॉलिसी होल्डर (Policy Holder) के द्वारा नामांकित (Nominated) किए गए व्यक्ति को नॉमिनी (Nominee) कहते हैं।
किसी भी अनहोनी होने पर जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस (Life Insurance) का पे-आउट (Pay-Out) नॉमिनी (Nominee) को ही मिलता हैं। नॉमिनी (Nominee) को बेनेफिशरी (Beneficiary) या लाभार्थी भी कहा जाता है।
पॉलिसी खरीदते समय ही नॉमिनी बना दिया जाता है। अधिकतर मामलों में पॉलिसी होल्डर के परिवारजन, जो उन पर फाइनेंसियल (Financial) रूप से डेपेंडेंड होते हैं जैसे :- उसका जीवन साथी, उनके बच्चे या उनके माता-पिता को ही नॉमिनी बनाया जाता है।
4. प्रीमियम – Premium
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) प्लान को जारी रखने के लिए दिया जाने वाला भुगतान प्रीमियम (Premium) कहलाता है। अगर आप तय तारीख पर प्रीमियम (Premium) नहीं दे पाते या ग्रेस पीरियड (Grace Period) के बाद भी प्रीमियम (Premium) का भुगतान नहीं करते, तो आपकी पॉलिसी समाप्त हो जाएगी।
5. पॉलिसी टेन्योर – Policy Tenure
जितनी अवधि के लिए जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) कवरेज देता है उसको पॉलिसी अवधि या पॉलिसी टर्म (Policy Term) या पॉलिसी टेन्योर (Policy Tenure) भी कहते हैं। पॉलिसी टेन्योर (Policy Tenure) जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) के प्रकार व इंश्योरेंस कंपनी (Insurance Company) के नियम और शर्तों पर आधारित होता है।
6. सम अश्योर्ड – बीमा धन – Sum Assured
यह वह रकम होती है जो बेनेफिशरी (Beneficiary) या लाभार्थी या नॉमिनी (Nominee) को इन्सोर्ड (Insured) व्यक्ति के डेथ (Death) के बाद मिलती है। अधिकतर समय सम अश्योर्ड (Sum Assured) का चुनाव इन्सोर्ड (Insured) व्यक्ति की डेथ (Death) पर होने वाले फाइनेंसियल नुकसान को ध्यान में रखकर किया जाता है।
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) प्लान खरीदते समय पॉलिसी होल्डर (Policy Holder) सम अश्योर्ड (Sum Assured) का चुनाव करता है जो नॉमिनी (Nominee) को इन्सोर्ड (Insured) व्यक्ति की पॉलिसी अवधि (Policy Term) में डेथ (Death) होने के बाद मिलता है।
7. मृत्यु लाभ- Death Benefit – डेथ बेनिफिट
पॉलिसी होल्डर की पॉलिसी अवधि के दौरान डेथ (Death) होने पर बेनेफिशरी या लाभार्थी को मिलने वाले भुगतान को मृत्यु लाभ या डेथ बेनिफिट (Death Benefit) कहते हैं। सम अश्योर्ड और डेथ बेनिफिट अलग अलग होते हैं। डेथ बेनिफिट, सम अश्योर्ड के बराबर या उससे अधिक हो सकता है क्योंकि उसमें राइडर बेनिफिट (Rider Benefit) भी होता है।
8. मेच्योरिटी बेनिफिट – Maturity Benefit
पॉलिसी टेन्योर (Policy Tenure) के समाप्त होने के बाद जो अमाउंट पॉलिसी होल्डर (Policy Holder) को दी जाती है, उसे मेच्योरिटी बेनिफिट (Maturity Benefit) कहते हैं।
9. लैप्सेड पॉलिसी – Lapsed Policy
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) में ग्रेस पीरियड (Grace Period) खत्म होने के बाद भी अगर प्रीमियम (Premium) नहीं भरा जाता तो वह पॉलिसी समाप्त हो जाती है और उसे लैप्सेड पॉलिसी (Lapsed Policy) कहते हैं।
10. ग्रेस पीरियड – Grace Period
प्रीमियम (Premium) देय (Due) डेट (Date) के समय को आगे बढ़ाते हुए इंश्योरेंस कंपनी द्वारा दिया गया अतिरिक्त समय ग्रेस पीरियड (Grace Period) कहलाता है। पॉलिसी होल्डर (Policy Holder) द्वारा प्रीमियम (Premium) दिए जाने के बाद प्लान का कवर जारी रहता है।
11. रिवाइवल पीरियड – Revival Period
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) में अगर ग्रेस पीरियड (Grace Period) के समय प्रीमियम नहीं भरा जाता तो पॉलिसी लैप्स (Lapse) हो जाती है। फिर से प्लान (Plan) या पॉलिसी (Policy) शुरू करने के लिए एक निश्चित समय तक ही मौका मिलता है, इसे ही रिवाइवल पीरियड (Revival Period) कहते हैं।
12. फ्री लुक पीरियड – Free Look Period
अगर आप पॉलिसी के नियम और शर्तों (Terms and Conditions) से संतुष्ट नहीं है तो एक निश्चित समय में पॉलिसी डाक्यूमेंट्स (Policy Documents) के अनुसार पॉलिसी वापस करी जा सकती है। इसे फ्री लुक पीरियड (Free Look Period) कहते हैं।
13. क्लेम प्रक्रिया – क्लेम प्रोसेस – Claim Process
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) में पॉलिसी टेन्योर (Policy Tenure) के दौरान इन्सोर्ड (Insures) व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है तो नॉमिनी, डेथ बेनिफिट लेने के लिए क्लेम भरता है। इसे ही क्लेम प्रक्रिया या क्लेम प्रोसेस (Claim Process) कहते है।
14. एक्सक्लूजन – Exclusion
एक जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) प्लान में बहुत सी ऐसी परिस्थितियां होती है जिसका इंश्योरेंस (Insurance) द्वारा कवरेज नहीं मिलता है।
15. कैपिटल प्रोटेक्शन – Capital Protection
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) पॉलिसी में इंश्योरेंस राशि बनी रहती है जब तक की प्रीमियम का नियमित रूप से भुगतान किया जाता है या जब तक की पॉलिसी इन्फोर्स (Inforce) रहती है।
16. मुद्रास्फीति सुरक्षा – इन्फ्लेशन प्रोटेक्शन – Inflation Protection
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) इन्फ्लेशन प्रोटेक्शन (Inflation Protection) नहीं देता है क्योंकि बीमा या इंश्योरेंस एक फिक्स्ड (Fixed) कवर और फिक्स्ड टेन्योर (Fixed Tenure) प्रोडक्ट है।
17. गारंटी – Guarantee
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) पॉलिसी में केवल बीमा राशि ही गारंटेड (Guaranted) होती है। कुछ पॉलिसीज न्यूनतम रिटर्न की गारंटी दे सकती हैं।
18. लोन -Loan
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) पॉलिसीस में एंडोमेंट और प्रॉफिट प्लान को लोन लेने के लिए गिरवी रखा जा सकता है।
19. लिक्विडिटी – Liquidity
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) पॉलिसीज (Policies) की लिक्विडिटी (Liquidity) पॉलिसीज के प्रकार पर डिपेंड करती है।
20. टैक्स इम्प्लीकेशन – Tax Implications
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) पॉलिसी में दिए गए प्रीमियम पर एक फाइनेंसियल वर्ष में 1.50 लाख रुपये की सीमा तक Section 80C के तहत टैक्स में छूट मिलती है।
इसी तरह मैच्योरिटी या क्लेम अमाउंट पर इनकम टैक्स की Section 10(10)D के तहत छूट मिलती है।
21. निवेश उद्देश्य और जोखिम – इन्वेस्टमेंट ऑब्जेक्टिव और रिस्क – Investment Objective & Risks
जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस ( Life Insurance) का एकमात्र उद्देश्य सुरक्षा (Protection) है। कुछ जीवन बीमा पॉलिसी इन्वेस्टमेंट (Investment) की पेशकश भी करती हैं।
अगर आपके साथ कोई दुर्घटना हो जाती है और ऐसी स्थिति का है आपकी मृत्यु हो जाती है तो लाइफ इन्श्योरेन्स कंपनी उस व्यक्ति द्वारा किये गए लाइफ इंश्योरेंस पॉलिसी के अनुसार उस व्यक्ति के परिवार को उतनी रकम प्रदान करती है जिससे कि कमाने वाले व्यक्ति की मृत्यु हो जाने के बाद भी उसके परिवार वालों की मदद हो सके ये परिवार की आर्थिक मदद के लिए काम आता है आप आपके उम्र जो किसी मजाक कर लोगे या आप किराये के घरों में रहते हैं
लाइफ इन्श्योरेन्स कैसे कराएं ?
भारत में बहुत सी बीमा इंश्योरेंस कंपनी है जहाँ से आप जीवन बीमा करवा सकते हो आप एक कंपनियों में जाकर भी बीमा करवा सकते हो और आप चाहे तो ऑनलाइन भी बीमा के लिए अप्लाइ कर सकते हैं ऑनलाइन अप्लाई करने के लिए बीमा कंपनी का एक एजेंट आपके पास आता है जिससे की आप ऑनलाइन बीमा करवा सकते हो आप जीवन बीमा के लिए कंपनी के टोल फ्री नंबर पर रिक्वेस्ट भी भेज सकते हो आपको बस गूगल पेज इस कंपनी कैप लाइफ इन्श्योरेन्स लेना चाहते हैं उसका नाम लिखना है और सर्च कर देना है टोल फ्री नंबर लगाके तो आपके सामने उनका नंबर आ जायेगा खुद बात भी कर सकते हो इसके लिए आपको उनके कुछ शर्तों को पूरा करना होता है जैसे कि आपकी उम्र 20 साल से लेकर 60 साल के बीच में होनी चाहिए इनकी 20 से 60 वर्ष के बीच में होनी चाहिए आप किसी प्रकार की जानलेवा बिमारी से ग्रसित नहीं होनी चाहिए और साली आप मानसिक रूप से सवस्थ होने चाहिए .
लाइफ इंश्योरेंस कितना लेना चाहिए ?
आपको कितना जीवन बीमा लेना चाहिए इस बात पर निर्भर करता है की आपकी जीवन बीमा लेना चाहिए इस बात पर निर्भर करता है की आपकी सालाना आय कितनी है यानी की आपकी सालाना इनकम कितनी है आपकी कितनी देर धारियाँ हैं मतलब कितने पैसे आपको लोगों को देने हैं और आपके परिवार के कितने लोग आपकी इनकम पर निर्भर होते हैं यानी की आप पर डिपेंड है आपको आपकी सालाना आय का 10 से 15 गुना राशि का जीवन बीमा करवा लेना चाहिए क्योंकि वो सबसे अच्छा होता है
कुछ ऐसी लाइफ इन्श्योरेन्स कंपनी इसकी जहाँ पर आप लाइफ इन्षुरेन्स करवा सकते है
1) एसबीआइ लाइफ इन्श्योरेंस | SBI Life Insurance
2) HDFC Standard Life Insurance
3) LIC Insurance Corporation Of India
4) ICICI Prudential Life Insurance
5) Max Life Insurance
6) Bajaj Allianz Life Insurance
7) Birla Sun Life Insurance
8) Reliance Nippon Life Insurance
9) TATA AIA Life Insurance
10) PNB MetLife India Insurance
टाइप्स ऑफ इन्श्योरेन्स कितने है ? | Types of life insurance
Term life insurance | टर्म इंश्योरेंस
money bank life insurance |
Unit link insurance |
Whole life insurance |
Universal life insurance |
Variable life insurance |
Burial insurance/funeral insurance |
Survivorship life insurance/joint life insurance |
Mortgage life insurance |
Credit life insurance |
Supplemental insurance |
1. टर्म इंश्योरेंस :
Term insurance क्या होता है
Term इंश्योरेंस एक निश्चित अवधि के लिए जो है मृत्यु से रक्षा प्रदान करती है यानी की एक जो बीमाधारक है उसने टर्म इंश्योरेंस 60 साल के लिए लिया है और वह 1 Crore का जो है बीमा लेता है. यदि 60 साल से पहले उसकी मृत्यु हो जाती है तो कंपनी जो है उसके वारिसों यानी की उसके नॉमिनी है उसका जो है वो गारंटीड अमाउंट जो है ₹1 Crore देती है.
इसमें कोई रिटर्न नहीं मिलता है यदि वो अवधि 60 साल बीमाधारक पूरा कर देता है. तो उसको कोई रिटर्न नहीं मिलता है. क्योंकि इसका इस पैसे का कोई भी हिस्सा कहीं निवेश नहीं होता है.
2. money bank life insurance
Unit link insurance |
Whole life insurance |
Universal life insurance |
Variable life insurance |
Burial insurance/funeral insurance |
Survivorship life insurance/joint life insurance |
Mortgage life insurance |
Credit life insurance |
Supplemental insurance
endowment policy life insurance : क्या पूछे पॉलिसी को मैं पॉलिसी पॉलिसी आती है दोस्तों यह भी उम्र के लिए हो तक के लिए होती है पोषित हो रखी मृत्यु हो जाने के बाद जो लाइफ ही होता है उन्हें इसकी पूर्ण राशि प्राप्त हो जाती है अगर कोई शक्तियां पॉलिसी देता है तो उसे दोस्त मिलते है लाभ मिलते हैं अब दिमाग लाभ बीमा का अवसर मिलता है आप मुझे मिलता है मुश्किल करता है
Life Insuarance advantages | जीवन बीमा लाभ |
लाइफ इंश्योरेंस या जीवन बीमा खरीदना जरूरी है क्योंकी :
पॉलिसी होल्डर(Policy Holder) की मृत्यु होने पर लाइफ इंश्योरेंस या जीवन बीमा से परिवार को फाइनेंसियल सहारा मिलता है।
इन्सोर्ड(Insured) व्यक्ति की अनुपस्थिति में लाइफ इंश्योरेंस या जीवन बीमा बच्चों की फाइनेंसियल और एजुकेशनल जरूरतों को पूरा करती है।
इससे रिटायरमेंट के बाद भी एक रेगुलर इनकम आती रहती है।
किसी विकट क्रिटिकल इलनेस(Critical Illness) या एक्सीडेंट होने पर इनकम कम हो जाती है तो लाइफ इंश्योरेंस या जीवन बीमा से अतिरिक्त इनकम मिलती रहती है।
लाइफ इंश्योरेंस या जीवन बीमा फाइनेंसियल इमरजेंसी और जीवन शैली की जरूरतों को भी पूरा करता है।
यदि आपने जीवन बीमा या लाइफ इंश्योरेंस(Life Insurance) पॉलिसी खरीदने का फैसला किया है, तो कुछ डाक्यूमेंट्स की आवश्यकता होती है। जैसे कि :-
ऐज प्रूफ – Age Proof :-
निम्नलिखित डाक्यूमेंट्स ऐज प्रूफ की तरह इस्तेमाल किए जाते हैं :
- ड्राइविंग लाइसेंस,
- 10th या 12th की मार्कशीट,
- बर्थ सर्टिफिकेट,
- पासपोर्ट,
- पैन कार्ड,
- आधार कार्ड आदि।
ऐड्रेस प्रूफ – Address Proof
निम्नलिखित डाक्यूमेंट्स एड्रेस प्रूफ की तरह इस्तेमाल किए जाते हैं :
- बिजली बिल,
- टेलीफोन बिल,
- राशन कार्ड,
- ड्राइविंग लाइसेंस,
- पासपोर्ट,
- आधार कार्ड और
- वोटर आईडी, आदि।
आइडेंटिटी प्रूफ – Identity Proof
निम्नलिखित डाक्यूमेंट्स आइडेंटिटी प्रूफ की तरह इस्तेमाल किए जाते हैं :
- पैन कार्ड,
- पासपोर्ट,
- ड्राइविंग लाइसेंस,
- वोटर आईडी,
- आधार कार्ड आदि।
इनकम प्रूफ – Income Proof
हाई इंश्योरेंस कवर(High Insurance Cover) निर्धारित करने के लिए इंश्योरेंस कंपनी को इनकम प्रूफ की आवश्यकता होती है। यह है :-
- 3 से 6 महीने की सैलरी स्लिप्स
- 2 से 3 वर्ष पुराने इनकम टैक्स रिटर्न
- पिछले 6 महीने के बैंक स्टेटमेंट
- बिज़नेस ओनरशिप प्रूफ
- लेटेस्ट फार्म 16
Frequently Asked Question
1. भारत में सबसे अच्छी जीवन बीमा कंपनी कौन सी है?
Ans: The list of the best life insurance company in India
1) Life Insurance Corporation of India (LIC)
2) ICICI Prudential Life Insurance.
3) SBI Life Insurance.
4) HDFC Standard Life Insurance.
5) Bajaj Allianz Life Insurance.
2.कितने प्रकार का बीमा लिया जा सकता है
Health Insurance
Individual Insurance
Family Insurance
Senior Citizen Insurance
Health Insurance Top-Up
Life Insurance
Term Insurance
Child Plan
Investment Plans
Pension Plans
ULIP Plans
Car Insurance
Two Wheeler Insurance
Travel Insurance
House Insurance
Group Insurance
Corporate Insurance
3. लाइफ इंश्योरेंस कितना लेना चाहिए ?
Ans: जीवन बीमा लेना चाहिए इस बात पर निर्भर करता है की आपकी सालाना Income कितनी है. आपके परिवार के कितने लोग आपकी इनकम पर निर्भर होते हैं . यानी की आप पर Dependents है. आपको आपकी सालाना income का 10 से 15 गुना राशि का जीवन बीमा करवा लेना चाहिए क्योंकि वो सबसे अच्छा होता है.
4.मुझे अपने परिवार की सुरक्षा के लिए कितने जीवन बीमा की आवश्यकता होगी?
Ans: जीवन बीमा लेना चाहिए इस बात पर निर्भर करता है की आपकी सालाना Income कितनी है. आपके परिवार के कितने लोग आपकी इनकम पर निर्भर होते हैं . यानी की आप पर Dependents है. आपको आपकी सालाना income का 10 से 15 गुना राशि का जीवन बीमा करवा लेना चाहिए क्योंकि वो सबसे अच्छा होता है.
5. टर्म लाइफ इंश्योरेंस क्या है?
Ans : Term insurance पॉलिसी जहाँ पर एक समयावली के लिए यदि कोई व्यक्ति प्रीमियम भरता है ,और उस समय अवधि के दौरान उस व्यक्ति की किसी दुर्घटना वश यदि मृत्यु या अपंगता हो जाती है तो वहाँ पर बीमा कंपनी द्वारा जो की रकम है वे उसकी नॉमिनी यानी की उसके परिवार वालों को दे दी जाती है
6.इंश्योरेंस क्या है इन हिंदी?
Ans : अगर आपके साथ कोई दुर्घटना हो जाती है और ऐसी स्थिति का है आपकी मृत्यु हो जाती है तो लाइफ इन्श्योरेन्स कंपनी उस व्यक्ति द्वारा किये गए लाइफ इंश्योरेंस पॉलिसी के अनुसार उस व्यक्ति के परिवार को उतनी रकम प्रदान करती है जिससे कि कमाने वाले व्यक्ति की मृत्यु हो जाने के बाद भी उसके परिवार वालों की मदद हो सके ये परिवार की आर्थिक मदद के लिए काम आता है आप आपके उम्र जो किसी मजाक कर लोगे या आप किराये के घरों में रहते हैं
7.Insurance कितने प्रकार के होते हैं?
Health Insurance
Individual Insurance
Family Insurance
Senior Citizen Insurance
Health Insurance Top-Up
Life Insurance
Term Insurance
Child Plan
Investment Plans
Pension Plans
ULIP Plans
Car Insurance
Two Wheeler Insurance
Travel Insurance
House Insurance
Group Insurance
Corporate Insurance
8 . लाइफ इंश्योरेंस कितना लेना चाहिए ?
Ans : आपको कितना जीवन बीमा लेना चाहिए इस बात पर निर्भर करता है की आपकी जीवन बीमा लेना चाहिए इस बात पर निर्भर करता है की आपकी सालाना आय कितनी है यानी की आपकी सालाना इनकम कितनी है आपकी कितनी देर धारियाँ हैं मतलब कितने पैसे आपको लोगों को देने हैं और आपके परिवार के कितने लोग आपकी इनकम पर निर्भर होते हैं यानी की आप पर डिपेंड है आपको आपकी सालाना आय का 10 से 15 गुना राशि का जीवन बीमा करवा लेना चाहिए क्योंकि वो सबसे अच्छा होता है
Insurance policy
Life insurance
Car insurance
Health insurance
Education insurance
Home Insurance
Travel Insurance
Pet Insurance
insurance agents
tax incentives
Insurance case
Benefits in death
Mutual funds
cyber security
Data privacy
Finance and Accounting
Management of risks
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What is health insurance
10 benifit of life insurance
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